योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली उत्तर प्रदेश सरकार सुरक्षित शहर परियोजना की शुरुआत के माध्यम से महिला सुरक्षा को बढ़ावा देने के लिए पर्याप्त प्रयास कर रही है। इस पहल में 10,417 महिला कांस्टेबलों को गुलाबी रंग के इलेक्ट्रिक स्कूटर से लैस करने की तैयारी है। महिला एवं बाल संरक्षण संगठन के नेतृत्व में, यह परियोजना वर्तमान में राज्य सरकार से अनुमोदन के लिए लंबित है और निकट भविष्य में शुरू होने की उम्मीद है।
राज्य भर में 3,000 गुलाबी(pink) बूथ स्थापित
पहले चरण में, राज्य भर में 3,000 गुलाबी बूथ स्थापित किए जाएंगे, जिनमें वाराणसी, अयोध्या, प्रयागराज और आगरा जैसे नौ शहरों के धार्मिक स्थलों पर 20 बूथ शामिल होंगे। इसके अतिरिक्त, 17 नगर निगमों और गौतम बुद्ध नगर में 1,100 महिला बीट कांस्टेबलों को इलेक्ट्रिक स्कूटर प्रदान किए जाएंगे। इन पिंक बूथों का निर्माण और इस चरण में स्कूटरों का वितरण तीन महीने के भीतर पूरा किया जाना है।
सेफ सिटी प्रोजेक्ट
गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश के लिए सेफ सिटी प्रोजेक्ट तीन चरणों में योजनाबद्ध है। पहले चरण में गौतम बुद्ध नगर सहित 17 नगर निगम शामिल हैं। बाद के चरणों में, 57 जिला मुख्यालयों के नगर निगमों और 143 नगर निगमों को परियोजना में एकीकृत किया जाएगा।
1.66 करोड़ रुपये का बजट आवंटित
एडीजी महिला एवं बाल सुरक्षा बीपी जोगदंड ने कहा कि विभिन्न स्थानों पर एक मंजिला पिंक बूथ का निर्माण शीघ्र है। गृह विभाग ने इस उद्देश्य के लिए 1.66 करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया है, धन जारी होते ही निर्माण शुरू करने की योजना है।
बूथों के अलावा, दूसरे चरण के दौरान नगर निगमों में 501 पिंक बूथ स्थापित किए जाएंगे और तीसरे चरण में राज्य के शेष शहरों में 2,480 बूथ बनाए जाएंगे।
इसके अलावा, परियोजना के पहले चरण में संभागीय मुख्यालयों और गौतम बुद्ध नगर के 550 पुलिस स्टेशनों में दो जीपीएस से लैस गुलाबी स्कूटरों का वितरण किया जाएगा। इन स्कूटरों का उपयोग 1,100 महिला बीट कांस्टेबलों द्वारा किया जाएगा, 15.60 करोड़ रुपये का बजट प्रस्ताव पहले ही गृह विभाग को सौंप दिया गया है।
सेफ सिटी प्रोजेक्ट के हिस्से के रूप में, महिला एवं बाल सुरक्षा संगठन ने 6 महीने का जागरूकता कैलेंडर तैयार किया है। इस पहल का लक्ष्य पहले चरण में 17 नगर निगमों और गौतम बुद्ध नगर को कवर करते हुए महिलाओं और लड़कियों को शिक्षित करना है। सूचना एवं जनसंपर्क विभाग उत्तर प्रदेश राज्य में महिला सुरक्षा और सशक्तिकरण के महत्व पर जोर देते हुए रेडियो जिंगल और सामुदायिक रेडियो के माध्यम से इन कार्यक्रमों को सक्रिय रूप से बढ़ावा दे रहा है।