तिरुपति प्रसाद मामले के बाद से देश के कई प्रसिद्ध मंदिरों के बाद अब बरदीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति द्वारा बदरीनाथ, केदारनाथ धाम के प्रसाद के एसओपी जारी की गई है । साल में कम से कम एक बार इसकी जांच होगी।
तिरुपति बालाजी प्रसाद मामले के बाद से देश के कई प्रसिद्ध मंदिरों के बाद अब बदरीनाथ, केदारनाथ धाम में भी प्रसाद गुणवत्ता के अलावा बीकेटीसी के अधीन आने वाले सभी मंदिरों में भोग और प्रसाद की शुद्धता के लिए बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति द्वारा मानक प्रचालन प्रक्रिया (एसओपी) को जारी कर दिया गया है।
जिसमें भोग प्रसाद तैयार करने और उसमें इस्तेमाल होने वाली सभी खाद्य सामग्री के साथ साथ निगरानी के लिए भी दिशा निर्देश दिए गए।
साल में कम से कम एक बार इस भोग प्रसाद की जांच कराई जाएगी। तिरुपति मंदिर में प्रसाद में मिलावट का मामला सामने आने के बाद बीकेटीसी के मुख्य कार्याधिकारी विजय प्रसाद थपलियाल द्वारा बदरीनाथ, केदारनाथ धाम के अलावा अन्य सभी मंदिरों में भोग व प्रसाद के लिए एसओपी जारी कर दी है।
मंदिरों के प्रसाद व भोग में इस्तेमाल होने वाले सभी चीजे जैसे चावल, तेल, घी, मसाले, केसर की जांच करने और किसी विश्वसनीय व्यापारी से खरीदने के निर्देश भी दिए गए हैं।
भोग व प्रसाद को बनाने के लिए इस्तेमाल होने वाले तेल को तीन बार से ज्यादा इस्तेमाल न किया जाए। इसके अलावा भोग और प्रसाद को तैयार करने वाले कर्मचारियों को साफ़ सफाई का विशेष ध्यान रखने के लिए कहा गया है । खाद्य सामग्री को लंबे समय तक स्टॉक में न रखने के आदेश दिए गए हैं।
गुणवत्ता और शुद्धता की जांच के लिए नियमित तौर पर इसकी निगरानी की जाएगी। इसके साथ ही साल में एक बार भोग और प्रसाद का फूड सेफ्टी ऑडिट किया जाएगा। जिसमें भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण की ओर से अधिकृत प्रयोगशाला में खाद्य सामग्री की जांच कराई जाएगी।
This post is written by Abhijeet kumar yadav